बिहार के विवादित यूट्यूबर मनीष कश्यप की दिक्कत बढ़ती ही जा रही है। मनीष को पूछताछ के लिए आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ (EOU) ने 22 मार्च को रिमांड पर लिया था, जिसकी अवधि आज गुरुवार को पूरी हो गई है। रिमांड अवधि पूरी होने के बाद EOU ने दोबारा रिमांड के लिए कोर्ट में अपील की गई है।
इधर मनीष की गिरफ्तारी के खिलाफ उसके समर्थकों द्वारा 23 मार्च को बिहार बंद का आह्वाहन किया गया। इसको लेकर समर्थकों ने सोशल मीडिया पर #23_मार्च_बिहार_बंद ट्रेंड कराया। वहीं भरी तादाद में लोग इसके विरोध में #बिहार_बंद_नहीं_होगा भी ट्रेंड कराया। इसके साथ ही मनीष के खिलाफ लोगों ने उसके पुराने व भद्दे वीडियो भी ट्वीट किये जिसमे कभी वो गाँधी जी की हत्या पर खुशियां मानाने की बात कर रहा है, तो किसी वीडियो में लोगों को गलियां देता दिख रहा है।
कौन कर रहा है बिहार बंद
तमिलनाडु में बिहारी मजदूरों के साथ तथाकथित मार-पीट के मामले में मनीष कश्यप की गिरफ्तारी के बाद उसके समर्थकों और राष्ट्रीय जन जन पार्टी द्वारा बिहार बंद का आह्वान किया गया है। इस बिहार बंद का ब्राह्मण-भूमिहार एकता मंच ने भी अपना समर्थन दिया है। उधर RJJP के राष्ट्रीय अध्यक्ष आशुतोष कुमार ने कहा कि आज राज्य भर में चक्का जाम किया जाएगा। लेकिन एंबुलेंस, स्कूल बस, परीक्षार्थी जैसे अति आवश्यक वाहनों को इससे अलग रखा जाएगा।
हालांकि, बिहार के लोगों ने इस बंदी का खुल के खिलाफत की है, जिसका प्रमाण सोशल मीडिया प्लेटफार्म ट्विटर पर #बिहार_बंद_नहीं_होगा का ट्रैंड के साथ बिहार की चलती-फिरती सड़कें और खुले हुए मार्केट हैं।
कुर्की के डर से किया सरेंडर
बिहारी प्रवासी मजदूरों की तमिलनाडु के नाम पर कथित तौर पर हिंसा के मामले में मनीष कश्यप पर तीन केस दर्ज किए गए हैं। तमिलनाडु मामले में मनीष पर फर्जी वीडियो बनाने का आरोप है। मामला दर्ज होने के बाद से मनीष फरार चल रहा था और एक के बाद एक लाइव वीडियो अपलोड कर रहा था। उसपर दबाव बनाने के लिए बेतिया पुलिस ने एक पुराने मामले में उसके आवास की कुर्की होने के डर से सरेंडर कर दिया था। इसके बाद EOU ने गिरफ्तार कर लिया। तमिलनाडु पुलिस ने भी केस दर्ज किया है, वहां की पुलिस भी ले जाने की तैयारी में है।
फिसड्डी निकला समर्थकों का बिहार बंद आह्वान
मनीष कश्यप के समर्थकों ने 23 मार्च को बिहार बंद का आह्वान किया था। जिसके लिए उन्होने सोशल मीडिया पर प्रचार-प्रसार भी किया, ट्विटर पर #23_मार्च_बिहार_बंद ट्रेंड भी कराया इसके बावजूद उनका प्लान पूरी तरह फिसड्डी निकला। बिहार की सड़कें रोजाना की तरह चलती-फिरती दिखाई पड़ीं, बाजार में चहल-पहल देखने को मिला।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, इस बंदी के समर्थन में उतरे ब्राह्मण-भूमिहार एकता मंच और RJJP ने आज कुछ जगहों पर चक्का जाम कर टायर जलाये। पर इसका प्रभाव बहोत ही छोटे स्तर पर देखने को मिला, बाद में लोगों ने उसको भी नहीं माना और अपने काम-काज में लगे रहे।